क्या आपको पता है बिजली का अविष्कार किसने और कब किया था वैसे संसार के सभी
देशों में बिजली का प्रयोग आम हो गया है इसके बिना सामान्य जीवन की कल्पना नहीं की
जा सकती अधिकांश मशीनें और कारखाने बिजली की सहायता से ही चलती हैं क्या मोटर, क्या रेल, क्या हवाई जहाज़
सभी में बिजली की आवश्यकता होती है |
बिजली का
आविष्कार कब और कैसे हुआ?
बिजली (Electric) शव्द की उत्पति
ग्रीक भाषा के ‘ इलेक्ट्रान ’ शव्द से हुई है
ईसा से 600 वर्ष पूर्व
ग्रीक के लोगों को पता था कि अम्बर (Amber) को कपड़े से रगड़ने पर उसमें कोई ऐसी शक्ति पैदा
हो जाती है, जिसके कारण वह
कागज के छोटे-छोटे टुकड़ों को आकर्षित करने लगता है
वास्तव में बिजली
का आविष्कार सन् 1800 में
एलेस्सान्डो् वोल्टा (Alessandro
Volta) ने किया वही सबसे पहले व्यक्ति थे, जिन्होंने पहली
बिधुत सेल बनाई, जिससे बिधुत धरा
प्राप्त की जा सकती थी विधुत सेल के आविष्कार के कुछ ही दिनों में लोगों को यह पता
लग गया कि बिधुत धारा से ऊष्मा, प्रकाश, रासायनिक कियाएं और चुम्बकीय प्रभाव पैदा किए जा सकते हैं
वोल्टा विधुत सेल में हल्के गंधक के अम्ल में एक जस्ते और तांबे की छड़ डुबोई जाती
थी इन छोड़ों पर लगे तारों को जोड़ने पर बिजली पैदा होती थी इस सेल में बाद में बहुत
से सुधार हुए और अनेकों प्रकार के बिधुत सेलों का निर्माण हुआ
विधुत पैदा करने
की दिशा में सबसे क्रांतिकारी कार्य 1831 में माइकल फैराडे (Michal Faraday) ने किया उन्होंने सबसे पहले सरे संसार को यह
दिखाया कि यदि तांबे के तार से बनी कुंडली (Coil) में एक चुम्बक को आगे-पीछे किया जाए, तो बिजली पैदा हो
जाती है l फैराडे के इसी
सिद्धांत को प्रयोग में लाकर विधुत पैदा करने वाले जेनरेटरों (Generators) का विकास हुआ
सबसे पहला सफल विधुत डायनमो (Dynamo) या जेनरेटर जर्मनी में सन 1867 में बनाया गया उसके बाद विधुत मोटरों और
ट्रांस्फोर्मेरों (Transformers)
का विकास हुआ
19 वीं शताब्दी के
अंत तक दुनिया के कुछ हिस्सों में बिजली का उत्पादन होने लगा था 1858 में अमरिका में
गिरते हुए पानी की मदद से टरबाइन (Turbine) चलाकर विधुत पैदा की गई इसके पश्चात दुनिया में
बहुत से जलविधुत उत्पादन केन्द्र (Hydel Power Station) और तापविधुत उत्पादन
केन्द्रों (Thermal Power
Station) का विकास हो गया 20 वीं सदी में परमाणु उर्जा के विकास के बाद परमाणु उर्जा से
भी बिजली बनाई जाने लगी आज के वैज्ञानिक परमाणु उर्जा और सौर उर्जा को प्रयोग में
लाकर विधुत उत्पादन के नये-नये तरीकों की खोज करने में लगे हुए हैं
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