प्राचीन काल से ही मनुष्य का सम्बन्ध गुफाओं से रहा है
पाषाण युग में मानव ठण्ड से बचने के लिए गुफाओं में ही रहता था बाद में गुफाओं के
विषयं में लोगों की अलग-अलग धारणाएं बन गई यूनान के लोगों का विचार था कि उनके
देवता जियस, पान, डियोनीसिस और प्लूटो गुफाओं में ही रहते थे रोम
के लोगों का विश्वास था कि गुफाओं में परियों व जादू-टोना करने वाले लोग रहते हैं
फारस के लोग गुफाओं को देवताओं का निवास स्थान मानकर उनकी पूजा करते थे आज दुनिया
भर में फैली, बड़ी-बड़ी सुन्दर
गुफाएं पयॅटकों के लिए आकषॅण का केन्द्र बनी हुई हैं |
गुफाएं कैसे बनीं?
पहाड़ों में गहरी खाली जगह को गुफाएं कहते हैं गुफाएं कई
तरीकों से बनती हैं समुंद्र से आने वाली पानी कि लहरें तब चट्टानों से टकराती हैं,
तो चट्टानों के बीच में स्थित मुलायम पत्थर को
अपने साथ बहा ले जाती हैं हज़ारों साल के इस क्रम का परिणाम यह होता है कि पहाड़ के
अन्दर की काफी जगह खोखली हो जाती है यह टेढ़ी-मेढ़ी खोखली जगह गुफा कहलाती है |
कुछ गुफाएं जमीन के अंदर भी मिलती हैं इन गुफाओं का निर्माण
जमीन के अंदर बहने वाली पानी कि धाराओं के बहने के कारण होता है पानी की ये धाराएं
चट्टानों में से चुने को बहा ले जाती हैं और जो खोकला हिस्सा रह जाता है, वही गुफा कहलाने लगता है कई बार पानी के झरनों
के गिरने से भी चट्टानों का कटाब हो जाता है ये खोखली चट्टानें गुफा बन जाती हैं
इस प्रकार की गुफाएं अमेरिका में हैं, जो नियागरा जलप्रप्रांत के बनी हुई हैं |
पृथ्वी की सतह में होने वाले ज्वालामुखीय परिवर्तनों से भी
गुफाओं का निर्माण होता है कुछ गुफाएं लम्बी होती हैं, तो कुछ ऐसी होती हैं, जिनकी गहराई अधिक होती है सबसे गहरी गुफा ‘गुफरेडी ला पियरे सेंट’ है, जो फ़्रांस व
स्पेन की सीमा पर है इसकी गहराई 1310 मीटर (4300 फुट) है सबसे
लम्बी गुफा ‘फिलिट रिज केव
सिस्टम’ अमेरिका में है, जो करीब 116.8 कि. मी. (73 मील) लम्बी है |
भारत में अजन्ता और एलोरा की गुफाएं बहुत प्रसिद्ध हैं
लाखों लोग इन्हें देखने जाते हैं इन गुफाओं में बड़े-बड़े सुन्दर चित्र बने हुए हैं
एलोरा में लगभग 36 गुफाएं है,
जो पहाड़ों में दूर-दूर तक फैली हैं इन गुफाओं
का निर्माण 300 ईव में शुरु हुआ
और 1300 ईव में ये बनकर तैयार हुई |
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